Bihar Jati Janganana:बिहार की हमारी सभी जातियों के लिए खुशी का समय आ गया है जो आज तक अज्ञात थीं या जिनका नाम बिहार जाति सूची में नहीं था क्योंकि बिहार सरकार ने Bihar Jati Janganana 2022 को हरी झंडी दे दी है, जिसका पूरा विवरण हम आपको इस लेख में देंगे।
आपको बता दें कि, Bihar Jati Janganana को लेकर बिहार सरकार की ओर से जारी नए अपडेट के मुताबिक न सिर्फ जातीय जनगणना का आयोजन किया जाएगा बल्कि आर्थिक जनगणना का भी आयोजन किया जाएगा ताकि बिहार सरकार को पूरा आंकड़ा मिल सके और बिहार सरकार आपके लिए तरह-तरह की सरकारी योजनाएं बना सके और नया विकासशील बिहार बनाया जा सके|
Bihar Jati Janganana – Overview
Name of the Article | Bihar Jati Janganana |
Type of Article | Latest Update |
Subject of Article | Proper Details of जातिगत जनगणना |
Caste Census Begins From? | Very Soon… |
Total Budget of This Census? | 500 Crore Rs |
Deadline of Caste Census? | 2023 |
Nodal Officer? | DM of Each District of Bihar |
जाति जनगणना को मिली मंजूरी, 2023 तक पूरा होगा जनगणना का काम – Bihar Jati Janganana?
आप सभी बिहार राज्य के नागरिकों और विभिन्न जातियों के लोगों को जाति जनगणना के बारे में जारी किए गए नए अपडेट के बारे में बताना चाहते हैं, जो इस प्रकार हैं:-
Bihar Jati Janganana – मुख्य बिंदुओं पर एक नजर?
- बिहार राज्य मे, पिछले काफी समय जाति की जनगणना अर्थात् जातिगत जनगणना के लिए बातो और वार्ताओं का दौर चल रहा था,
- इन सभी वार्ताओं को दौरो को ऩिर्णायक मोड़ देते हुए बिहार सरकार ने, राज्य मे, Bihar Jati Janganana 2022 को आधिकारीक मंजूरी दे दी है
- बिहार में, आयोजित की जाने वाली इस जातिगत जनगणना की पूरे क्रियान्वयन की जिम्मेदारी DM के सुपुर्द किया गया है और इन्हें ही नोडल अधिकारी बनाया गया है,
- आपको बता दे कि, इस पूरी जातिगत जनगणना के संचालन में, कुल 500 करोड़ रुपयो का खर्च आयेगा और
- तााजा मिली जानकारी के अनुसार, जातिगत जनगणना को साल 2023 तक सफलतापूर्वक सम्पन्न कर लिया जायेगा आदि।
फरवरी 2023 तक काम को पूरा कर लिया जाएगा
अधिसूचना के मुताबिक, जाति आधारित जनगणना के दौरान आर्थिक स्थिति के सर्वेक्षण भी किया जाएगा। जनगणना के लिए करीब 500 करोड़ रुपये खर्च होंगे। इस राशि की व्यवस्था बिहार आकस्मिकता निधि से किया जाएगा। फरवरी 2023 तक काम को पूरा कर लिया जाएगा और समय-समय पर इसको लेकर विभिन्न राजनीतिक दलों को अवगत भी कराया जाएगा।
Bihar Jati Janganana का लाभ क्या होगा?
- इस जातीय जनगणना की मदद से बिहार सरकार को राज्य में रहने वाली विभिन्न जातियों के बारे में पूरी जानकारी मिलेगी,
- बिहार सरकार इन सभी जातियों की पहचान कर उत्थान के लिए कई कल्याणकारी और विकासात्मक कदम उठा सकती है,
- राज्य की सभी जातियों की पहचान कर बिहार सरकार इन सभी जातियों के सामाजिक-आर्थिक विकास के लिए विभिन्न प्रकार की विकासात्मक एवं कल्याणकारी योजनाएं शुरू करेगी, ताकि सभी जातियों का सतत और सर्वांगीण विकास आदि सुनिश्चित हो सके।
अंत में इस तरह हमने आपको बिहार जाति जनगणना को लेकर जारी किए गए नए अपडेट के बारे में विस्तार से बताया ताकि आपको इसका पूरा फायदा मिल सके.
Bihar Jati Janganana 2022:- Important Link
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निष्कर्ष – Bihar Jati Janganana 2022
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FAQ’s – Bihar Jati Janganana
Q 1. बिहार में किस जाति की कितनी जनसंख्या है?
जनगणना 2011: बिहार में 82% हिंदू, इसमें 51% आबादी ओबीसी की मोटे-मोटे तौर पर यह कहा जाता है कि बिहार में 14.4% यादव समुदाय, कुशवाहा यानी कोइरी 6.4%, कुर्मी 4% हैं। सवर्णों में भूमिहार 4.7%, ब्राह्मण 5.7%, राजपूत 5.2% और कायस्थ 1.5% हैं।
Q 2. जातीय जनगणना कब हुई थी?
1931 के बाद 1941 को जाति के आधार पर जनगणना तो हुई थी, लेकिन इसके आंकड़ें सार्वजनिक नहीं किए गए. इसके बाद भारत आजाद हो गया और फिर 1951 में आजाद भारत की पहली जनगणना करवाई गई. हालांकि, इस दौरान ही ये फैसला ले लिया गया था कि अब जाति के आधार पर जनसंख्या की गिनती नहीं होगी|